नई दिल्ली: कांग्रेस के दिग्गज नेता और पूर्व केंद्रीय मंत्री पी. चिदंबरम ने नये कृषि कानूनों को लेकर केंद्र की मोदी सरकार के खिलाफ किसानों के आक्रोश के संबंध में चेतावनी दी है। उन्होंने कहा कि कोई भी सरकार किसानों के क्रोध का सामना नहीं कर सकती, खासकर तब जब किसान ये जानते हों कि उन्हें धोखा दिया गया है।
कांग्रेस नेता चिदंबरम ने मशहूर कवि और दार्शनिक तिरुवल्लुवर के कथन का जिक्र करते हुए किसान आक्रोश को सरकार के खिलाफ बताया है। उन्होंने ट्वीट करते हुए कहा कि, 'मेरे पसंदीदा कवि संत तिरुवल्लुवर ने 2000 वर्ष पूर्व लिखा था कि यदि किसान हाथ बांध लेते हैं तो उसके सामने कोई खड़ा नहीं रह सकता। भले इसके लिए उसे अपना जीवन तक त्यागना पड़े।' चिदंबरम ने कहा कि ऐसा ही कुछ आज किसान आंदोलन में भी देखने को मिल रहा है। बीते 40 दिनों से किसान प्रदर्शन कर रहे हैं और 50 से अधिक लोगों की मौत हो गई है। इसके बाद भी वो अपनी मांगों को लेकर डटे हुए हैं।
चिदंबरम ने कहा कि ऐसे में सरकार को आवश्यक कदम उठाते हुए किसानों की मांग स्वीकार कर लेना चाहिए। बता दें कि तीन नये कृषि कानूनों के खिलाफ 40 दिन से दिल्ली बॉर्डर पर किसानों का प्रदर्शन जारी है। इस बीच आज (सोमवार) किसान संगठनों और सरकार के बीच सातवें दौर की बैठक चल रही है, जिसमें कृषि कानूनों को वापस लेने तथा न्यूनतम समर्थन मूल्य को कानूनी स्वरूप देने के मुद्दे पर मंथन होगा।
मोदी सरकार से अखिलेश का सवाल- गरीबों को कब मिलेगी कोरोना वैक्सीन ?
नीति आयोग का बयान- प्रथम चरण में कोरोना टीकाकरण के लिए पर्याप्त वैक्सीन का भंडार
केंद्र से केजरीवाल की अपील- आज की बैठक में मानें किसानों की बात, वापस लें कृषि कानून