इस्लामाबाद: पाकिस्तान में कोरोना महामारी के चलते स्थिति गंभीर हो गई है। रविवार तक यहां 1560 पॉजिटिव मामले सामने आए और 14 लोगों की जान गई। इमरान खान सरकार प्रभावित इलाकों तक सहायता पहुंचाने की कोशिश कर रही है, लेकिन सिंध प्रांत में रहने वाले अल्पसंख्यक हिंदुओं के साथ काफी पक्षपात किया जा रहा है। पिछले दिनों स्थानीय प्रशासन की तरफ से कराची में लोगों को राशन और अन्य आवश्यक सामान बांटा गया, किन्तु हिंदुओं को खाली हाथ लौटा दिया गया।
उनसे कहा गया कि यह राहत उनके लिए नहीं बल्कि केवल मुस्लिम समुदाय के लोगों के लिए है। सिंध में हिंदुओं की आबादी लगभग 5 लाख है। सिंध प्रांत में लॉकडाउन के दौरान फंसे मजदूरों और श्रमिकों के लिए राशन बांटने का जिम्मा सरकार ने प्रशासन और NGO को सौंप रखा है। यहां लगभग 3 हजार लोग सहायता के लिए जुटे थे। इनकी स्वास्थ्य जांच और स्क्रीनिंग के भी कोई बंदोबस्त नहीं किए गए। इस लिहाज से अल्पसंख्यक आबादी में संक्रमण का खतरा बना हुआ।
राजनीतिक कार्यकर्ता डॉ अमजद अयूब मिर्जा ने कहा है कि कराची शहर और सिंध प्रांत के विभिन्न इलाकों में रहने वाले हिंदुओं के समक्ष खाने-पीने के सामान का गंभीर संकट खड़ा हो चुका है। वे भारत सरकार से सहायता की गुहार लगा रहे हैं। उनकी मांग है कि पीएम नरेंद्र मोदी राजस्थान के रास्ते सिंध के हिंदुओं के लिए राशन और अन्य आवश्यक सामान भेजें।
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