आप सभी जानते ही होंगे हस्तरेखा शास्त्र में हथेली के पर्वत, रेखा और चिह्नों का विशेष महत्व है। जी हाँ और हथेली में तीन प्राइमरी रेखाएं होती हैं। इस लिस्ट में मस्तिष्क रेखा, हृदय रेखा और जीवन रेखा शामिल होती हैं और इसके अलावा भी हथेली में कुछ रखाएं होती हैं जिसके माध्यम से भविष्य के बारे में बहुत सारी जानकारियां हासिल की जाती हैं। आप सभी को बता दें कि हस्तरेखा शास्त्र में भाग्य रेखा के साथ-साथ सूर्य रेखा को भी बहुत अच्छा और शुभ परिणाम देने वाला माना जाता है और सूर्य रेखा किस्मत के बारे में भी बहुत कुछ बताती है। अब आज हम आपको बताते हैं कि सूर्य रेखा किस्मत के बारे में क्या-क्या बताती है?
- हस्तरेखा शास्त्र को माने तो अगर हथेली की सूर्य रेखा अच्छी, पूरी तरह से विकसित और दोषरहित हो तो व्यक्ति जीवन में जबरदस्त तरक्की करता है। इसी के साथ ही सूर्य रेखा अच्छी होने से व्यक्ति का जीवन समृद्धि से भरा रहता है और सौभाग्य भी अर्जित होता है।
- हस्तरेखा शास्त्र को माने तो अगर सूर्य रेखा, चंद्र क्षेत्र से आरंभ हो तो इंसान अपने जीवन में खूब तरक्की करता है। केवल यही नहीं बल्कि तरक्की में किसी ना किसी साथी का भी सहयोग होता है।
- अगर सूर्य रेखा मणिबंध या उसके आसपास के शुरू होकर भाग्य रेखा के नजदीक से होते हुए अपने स्थान की ओर जा रही हो तो ये सबसे अच्छी मानी जाती है। जी हाँ और ऐसी रेखा वाले व्यक्ति जिस भी काम में हाथ डालते हैं उसमें पूरी तरह से सफलता पाते हैं।
- हस्तरेखा शास्त्र के अनुसार, अगर सूर्य रेखा चंद्र क्षेत्र से अनामिका अंगुली तक जाती है तो संबंधित व्यक्ति का जीवन घटनाओं से भरा रहता है। इसी के साथ ही ऐसे जातकों का जीवन संदेहपूर्ण भी रहता है। हालाँकि अगर सूर्य रेखा चंद्र क्षेत्र से निकलकर भाग्यरेखा के समानांतर जाए तो व्यक्ति का भविष्य बहुत अच्छा रहता है।
- हस्तरेखा शास्त्र के मुताबिक अगर भाग्य रेखा और सूर्य रेखा दोषमुक्त, स्पष्ट और लालिमा लिए होती है तो इंसान भाग्यशाली माना जाता है।
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