लखनऊ: उत्तर प्रदेश के मथुरा में श्रीकृष्ण जन्मभूमि ट्रस्ट की 13.37 एकड़ जमीन पर मौजूद शाही मस्जिद ईदगाह को हटाने संबंधी एक मामले में सिविल जज सीनियर डिवीजन की कोर्ट में सोमवार को एक प्रार्थनापत्र देकर ईदगाह में मौजूद मस्जिद में मंदिर का गर्भगृह होने का दावा किया गया। इसके साथ ही कोर्ट से इसके शुद्धीकरण की मांग की गई है। यह अर्जी ऐसे समय पर दाखिल की गई है जब वाराणसी की ज्ञानवापी मस्जिद को लेकर कानूनी जंग जारी है।
वादी दिनेश चंद शर्मा ने इसी तरह का एक प्रार्थनापत्र इसी कोर्ट में 19 मई को दिया था, जिसमें शाही मस्जिद ईदगाह में मौजूद गर्भगृह में लड्डू गोपाल का अभिषेक करने की अनुमति कोर्ट से मांगी गई थी। हालाँकि, अभी सिविल जज सीनियर डिवीजन ने उनके किसी प्रार्थनापत्र में कोई आदेश पारित नहीं किया है। शर्मा ने अपने वकील दीपक शर्मा के जरिए 26 फरवरी 2021 को सिविल जज सीनियर डिवीजन की कोर्ट में वाद दाखिल कर श्रीकृष्ण जन्मभूमि ट्रस्ट की जमीन पर बने ईदगाह को हटाने की मांग की थी। इस केस में यूपी सुन्नी सेन्ट्रल वक्फ बोर्ड, इंतजामिया कमेटी शाही मस्जिद ईदगाह, श्रीकृष्ण जन्मस्थान सेवा संस्थान और श्रीकृष्ण जन्मभूमि ट्रस्ट को प्रतिवादी बनाया गया है।
दोनों प्रार्थनापत्रों में वादी ने यह दावा किया है कि शाही मस्जिद ईदगाह के भीतर कटरा केशवदेव मंदिर का गर्भगृह स्थित है और इसी गर्भगृह को गंगा और यमुना के पवित्र जल से शुद्ध करने की मांग वादी द्वारा सिविल जज सीनियर डिवीजन की कोर्ट में आज के प्रार्थनापत्र में की गई है। इस मामले की सुनवाई के लिए अगली तारीख 1 जुलाई मुक़र्रर की गई है।
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