नईदिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इरफाना बेगम के सुझाव को मन की बात कार्यक्रम में शामिल करते हुए कहा कि उनके क्षेत्र के पास स्कूल खोला जाना एक अच्छा सुझाव है। आज का दिन संविधान और लोकतंत्र के लिए महत्वपूर्ण है। आज का दिन संविधानसभा के सदस्यों को स्मरण करने का दिन है। इन लोगों ने 3 वर्षों तक प्रयास किया और भारत का संविधान बना। उन्होंने कहा कि आज के दिन संविधान बना था। यह बात नए भारत के निर्माण के लिए बेहद महत्वपूर्ण है। नए भारत के निर्माण का संकल्प हमारे लिए महत्वपूर्ण है।
यह हम सभी का प्रयास है। हमारा कर्तव्य है कि हम संविधान की भावना के अनुरूप आगे बढ़ें। 26/11 हमारा संविधान दिवस है। उन्होंने संविधानसभा निर्मात्री सभा के अध्यक्ष डाॅ. बाबा साहेब आंबेडकर को याद किया। उन्होंने कहा कि संविधान के प्राक्कलन समिति के अध्यक्ष डाॅ. आंबेडकर ने यह सुनिश्चित किया कि समाज के हर वर्ग और तबके को प्रधानता मिले। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सरदार पटेल का स्मरण किया। उन्होंने कहा कि 26/11 के दिन करीब 9 वर्ष पहले आतंकियों ने मुंबई पर हमला कर दिया था।
देश के वीरों ने इस हमले को नाकाम कर दिया था। देश उनके योगदान को कभी भी नहीं भूल सकता है। आतंकवाद के कारण हम बहुत कुछ झेल रहे हैं। कुछ वर्षों तक जब देश दुनिया के सामने आतंकवाद को लेकर चर्चा करता था तो लोग उस पर ध्यान नहीं देते थे मगर, अब जब आतंकवाद उनके घरों तक दस्तक दे रहा है तो फिर वे हमारी बात को समझ रहे हैं। उन्होंने कहा कि महात्मा गांधी, भगवान बुद्ध आदि सभी ने दुनिया को अहिंसा और प्रेम का संदेश दिया है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि 4 दिसंबर को हम सभी नेवी डे मनाऐंगे। हमारी सभ्यता का विकास नदियों के किनारे हुआ है भले ही वह सिंधु घाटी सभ्यता हो या और कोई हो। जब हम करीब 900 वर्ष पूर्व के इतिहास को देखते हैं तो जानते हैं कि चोल वंश ने नेवी का एक सशक्त रूप गढ़ा था। कम ही लोगों को जानकारी होगी कि चोल नेवी में बड़े पैमाने पर महिलाओं ने प्रमुख भूमिका का निर्वहन किया था। जहाजों के निर्माण के बारे में उन्होंने समर्थन किया था। मराठा नेवी भी उन्नत थी।
मराठा नेवी में बड़े - बडे जहाज शामिल थे। उन्होंने कुछ मराठा नौसेनिकों का उल्लेख भी किया। उन्होंने कहा कि भारत की नौसेना ने स्वाधीनता के बाद अपना महत्वपूर्ण योगदान दिया चाहे वह गोवा मुक्ति आंदोलन हो या फिर कोई आपातकालीन अवसर हो। हमारी नौसेना ने श्रीलंका में बाढ़ आने पर भी महत्वपूर्ण योगदान दिया था। मानवता के रक्षण के लिए नौसेना ने महत्वपूर्ण योगदान दिया है। उन्होंने कहा कि हम भारतवासी हमारे सुरक्षाबलों के प्रति आदरभाव प्रकट करते हैं।
सवा सौ करोड़ देशवासी सुख चैन की नींद सो सकें इसलिए वे अपनी जवानी देश पर कुर्बान कर देते हैं। देश में सेना के प्रति सम्मान का एक आंदोलन खड़ा हो जाए इसके लिए आर्म्ड फोर्सेस डे मनाऐं। हम वीडियो, चित्रों की प्रदर्शनी के माध्यम से फौज के योगदान को प्रदर्शित कर सकते हैं। उन्होंने कहा कि हम किसान सदि इस विश्व में कहीं भी उपजाऊ मिट्टी न हो तो फिर क्या होगा। यह विचार कीजिए। यही कारण है कि हम मिट्टी के महत्व को लेकर प्राचीन समय से जागरूक रहते हैं। इस देश के किसान के जीवन में दोनों बातों का महत्व रहा है। हमें मिट्टी को सजाना और संवारना होगा।
हमारे देश के किसान आधुनिक विज्ञान को लेकर रूचि रखते हैं। उन्होंने रबी सीज़न में फसल उत्पादन की जानकारी दी और कहा कि मिट्टी की गुणवत्ता में सुधार आया है। उन्होंने कहा कि मुझे इस बात की प्रसन्नता है कि किसान स्वाईल हैल्थ कार्ड प्राप्त करने में आगे आऐ हैं। इससे उनके खेत की मिट्टी गुणवत्तापूर्ण हुई है और उन्हें खेत की मिट्टी के अनुसार लाभ हुआ है। उन्होंने रासायनिक उर्वरक और आवश्यकता से अधिक यूरिया के प्रयोग से मृदा को नुकसान पहुंचने की जानकारी भी दी।
उन्होंने ग्लोबल वाॅर्मिंग को लेकर भी जानकारी दी। उन्होंने मध्यप्रदेश के दिव्यांग बालक तुषार का उदाहरण देते हुए कहा कि उसने अपने गांव को खुले में शौच की परेशानी से मुक्त कर दिया। वह तड़के 5 बजे उठकर लोगों को सीटी से जगाकर हाथ से संकेत कर खुले में शौच न करने की सीख देने लगा। स्वच्छता जागरूकता को लेकर इस बालक ने प्रेरक कार्य किया। यह बात यह दर्शाती है कि महिला हो या पुरूष स्वच्छता सभी के लिए आवश्यक है। उन्होंने दिव्यांगों की सराहना करते हुए कहा कि वे हर क्षेत्र में अच्छा कर रहे हैं।
खेल का क्षेत्र हो तो भी वे शानदार सफलता प्राप्त कर रहे हैं। इन लोगों ने शानदार जीत दर्ज की थी। दिव्यांगों ने तैराकी की वैश्विक स्पर्धा में बेहतर प्रदर्शन किया। उन्होंने नेशनल पैरास्वीमिंग प्रतिस्पर्धा का उल्लेख करते हुए गुजरात के खिलाड़ी जिगर ठक्कर ने की सराहना की। उन्होंने कहा कि इस खिलाड़ी को 20 - 20 पैरा खेेलों की स्पर्धा के लिए चयनित हुए 32 पैरा खिलाड़ियों में से एक हैं।
उन्होंने कहा कि कुछ दिन बाद ईद ए मिलाद का त्यौहार मनाया जाएगा। ईद का यह पर्व समाज में शांति व सद्भाव को बढ़ाने के लिए सभी को नई प्रेरणा प्रदान करे। ऐसी उम्मीद है। उन्होंने नीरजा सिंह के सुझाव को भी मन की बात में शामिल किया। इस दौरान उन्होंने अंग्रेजी कैलेंडर नववर्ष के शुभारंभ को लेकर चर्चा की। उन्होंने कहा कि दुख को भूलें, सुख को भूलनें न दें।
जब नववर्ष की चर्चा मन की बात में चली तो मोदी ने कहा कि सभी इस वर्ष अपने जीवन के 5 सकारात्मक अनुभव है, हेस टैग के साथ #positiveindia साझा कर सकेंगे। इससे लोगों को प्रेरणा मिलेगी। उन्होंने अपील की कि mygov, सोशल मीडिया पर लोग सकारात्मक बातों को साझा करें।
देश के सबसे पिछड़े 115 ज़िलों की तकदीर बदलने की तैयारी