सोलन: हाल ही में इस बात का पता चला है कि सोलन के कसौली का मंकी प्वाइंट पवन पुत्र हनुमान को समर्पित है. ऐसा माना जाता है कि जब लंका में राम और रावण में युद्ध के दौरान मेघनाद के शक्ति बाण से लक्ष्मण मूर्छित हुए थे तो हनुमान को संजीवनी बूटी लाने के लिए हिमालय भेजा गया. संजीवनी बूटी के बजाय हनुमान पूरा हिमालय पर्वत ही उठा लाए थे.
सुत्रों से मिली जानकारी के अनुसार हिमालय पर्वत लाते समय उनका दायां पांव कसौली की इस ऊंची पहाड़ी पर टिका था, जिस कारण इस भूखंड की आकृति विशाल दायें पांव की तरह है. इस स्थान पर अब संजीवनी हनुमान मंदिर है. हनुमान ने इसके बाद अपना एक पैर शिमला के जाखू में रखा था जहां प्रसिद्ध मंदिर है. मंदिर की पहाड़ी में वानरों की टोलियां अठखेलियां करती रहती हैं. पहाड़ी पर बने मंदिर में खुद को कुदरत की गोद में बैठा हुआ महसूस किया जा सकता है.
हम आपको बता दें कि यहां से एक ओर शिमला, चायल, श्रीनयना देवी, कांगड़ा की धौलाधार चोटी नजर आती है तो दूसरी ओर चंडीगढ़, पंचकूला व मैदानी राज्यों के दृश्य मन मोह लेते हैं. मंकी प्वाइंट में देश-विदेश के पर्यटक साल भर आते हैं. मंदिर में हनुमान की एक मूर्ति है जिसमें संजीवनी पर्वत को उठाए और अपने बायें हाथ में एक गदा लिए हुए दिखाया है. मंदिर में एक शिवलिंग भी है. मंदिर वायु सेना क्षेत्र में है. इसका प्रबंधन और संचालन सेना ही करती है. यहां फोटो पहचान पत्र के बिना प्रवेश वर्जित है. मोबाइल फोन और कैमरे ले जाना सख्त माना है.
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