इस भागती दौड़ती दुनिया में हम अक्सर लोगों को यह सुनते पाते हैं कि उन्हें पूरी जिंदगी कमाते हो गया, लेकिन फिर भी कोई मोटी रकम जमा नहीं कर पाए, जिसके की उनके बड़े वित्तीय लक्ष्य या रिटायरमेंट के बाद की जरूरतें पूरी हो सके. यह ऐसा दौर है, जिसमें लोगों के खर्चे बहुत बढ़ गए हैं. जितनी कमाई होती है, उतने ही खर्चे भी बढ़ जाते हैं. कई बार लोग अतिरिक्त आय पाने के लिए अपने मुख्य कार्य के अलावा साइड बिजनेस भी शुरू कर देते हैं. ऐसे में अगर कोई आपसे कहे कि आप सोते हुए भी पैसा कमा सकते हैं, तो आपको आश्चर्य जरूर होगा, लेकिन यह सच है. एक व्यक्ति प्रतिदिन मात्र 100 रुपये की छोटी सी बचत करके 54.47 लाख रुपये का फंड बना सकता है. जानें कैसे
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आयकर में भी मिलेगी छूट : बड़े वित्तीय लक्ष्यों या रिटायरमेंट के बाद की जरूरतों को पूरा करने के लिए अगर आप फंड तैयार करना चाहते हैं, तो स्मॉल सेविंग्स स्कीम्स सबसे बेहतर विकल्प है। इनमें से ही एक है पब्लिक प्रोविडेंट फंड यानी PPF स्कीम। यह सरकार द्वारा समर्थित सेविंग स्कीम है। इस योजना में निवेश करके निवेशक हर साल 1.5 लाख रुपये का आयकर भी बचा सकते हैं। आयकर अधिनियम की धारा 80 सी के तहत यह टैक्स छूट निवेशक पुराने टैक्स स्लेब का चयन कर प्राप्त कर सकते हैं।
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मिलेगा बेहतर गारंटीड रिटर्न : पीपीएफ स्कीम अपने खाताधारकों को 7.1 फीसद गारंटीड रिटर्न प्रदान करती है. इस बेहतर ब्याज दर के माध्यम से इस योजना में निवेश कर निवेशक सोते हुए भी अपना धन बढ़ा रहे होते हैं. इस योजना में मैच्योरिटी की अवधि 15 साल होती है. निवेशक 15 साल से अधिक समय तक भी निवेश कर एक बड़ा फंड तैयार कर सकते हैं. अर्थात यह एक लंबी अवधि का निवेश है. निवेशक जितनी जल्दी इस योजना में निवेश करना शुरू करेंगे, उतनी ही जल्दी वे एक बड़ा फंड तैयार कर पाएंगे.
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मैच्योरिटी के बाद भी जारी रख सकते हैं अकाउंट : एक्सपर्ट्स की सलाह होती है कि जब तक व्यक्ति कमाता है, तब तक उसे पीपीएफ अकाउंट में योगदान देते रहना चाहिए. निवेशक 15 साल की मैच्योरिटी के बाद भी अपने अकाउंट को आगे कितने भी समय के लिए जारी रख सकते हैं. इसके लिए निवेशक को मैच्योरिटी के एक साल के भीतर फॉर्म-H जमा कराना होता है. 15 साल की मैच्योरिटी के बाद भी पीपीएफ अकाउंट जारी रखने पर निवेशक पीपीएफ अकाउंट में जमा पीपीएफ ब्याज पर भी ब्याज पाने के योग्य होते है. इस तरह निवेशकों को दोहरा लाभ होता है.
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अंत में होगा मोटा मुनाफा :अगर यह माने कि कोई व्यक्ति 25 साल की आयु में पीपीएफ अकाउंट खुलवाता है और उसकी रिटायरमेंट की आयु 60 वर्ष है, तो वह कुल 35 साल पीपीएफ अकाउंट में निवेश कर सकता है. यह मानकर चलते हैं कि वह व्यक्ति अपने महीने के वेतन में से 3,000 रुपये बचाकर पीपीएफ अकाउंट में जमा कराता है. अब अगर 35 साल तक के उसके पीपीएफ योगदान व 7.1 फीसद के हिसाब से ब्याज की गणना करें, तो अंत में उसका कुल फंड 54.47 लाख रुपये का हो जाएगा. इस तरह आप पीपीएफ अकाउंट में महीने के 3,000 रुपये अर्थात प्रति दिन मात्र 100 रुपये निवेश कर 35 साल में 54.47 लाख रुपये का फंड तैयार कर सकते हैं.
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