नई दिल्ली: केंद्र शासित प्रदेश जम्मू-कश्मीर में एयरफोर्स स्टेशन पर ड्रोन से हुए अटैक के बाद केंद्र की मोदी सरकार देश में ड्रोन की उड़ानों को रेगुलेट करने के लिए विस्तृत कानून लाने जा रही है. केंद्र ने ड्रोन रूल्स 2021 का अपडेटेड ड्राफ्ट आज जारी कर दिया है. इस ड्राफ्ट पर आम लोगों की प्रतिक्रिया मांगी गई है.
उड्डयन मंत्रालय द्वारा जारी ड्राफ्ट के मुताबिक, ड्रोन उड़ाने के लिए सरकार ने कई मंजूरी कम कर दी है. इस मसौदे के मुताबिक, सरकार देश में ड्रोन उड़ान को विस्तार देना चाहती है. तो वहीं सुरक्षा के लिए सरकार, जिओ फेंसिंग, रियल टाइम ट्रैकिंग जैसी सुविधाएं ला रही है. सरकार ने यूनिक ऑथोराइजेशन नंबर, यूनिक प्रोटोटाइप पहचान संख्या, सर्टिफिकेट ऑफ कॉन्फॉर्मेंस, मेंटेनेंस सर्टिफिकेट, आयात मंजूरी, वर्तमान ड्रोन की स्वीकृति, ऑपरेटर परमिट, आर एंड डी संगठन का ऑथोराइजेशन, स्टूडेंट रिमोट पायलट लाइसेंस, रिमोट पायलट इंस्ट्रक्टर ऑथोराइजेशन, ड्रोन पोर्ट ऑथोराइजेशन पर मंजूरियों से राहत दी है.
ड्रोन लाइसेंस के लिए फॉर्म की तादाद 25 से घटाकर 6 कर दी गई है. अब एयरपोर्ट्स के आस पास के दायरे में येलो जोन को 45 किलोमीटर से घटाकर 12 किलोमीटर कर दिया गया है. यानी अब हवाई अड्डे के आसपास अधिक एरिया में ड्रोन उड़ाए जा सकेंगे. हरित क्षेत्रों में 400 फीट तक और हवाई अड्डे की परिधि से 8 से 12 किमी के बीच के क्षेत्र में 200 फीट तक उड़ान की परमिशन की आवश्यकता नहीं होगी. ड्रोन का कवरेज 300 किलोग्राम से बढ़ाकर 500 किलोग्राम कर दिया गया है. इसमें ड्रोन टैक्सियां भी शामिल होंगी.
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