नई दिल्ली: केंद्र की मोदी सरकार द्वारा 3 कृषि कानूनों के वापस लिए जाने की घोषणा पर भारतीय किसान यूनियन (भाकियू) के नेता राकेश टिकैत ने बड़ा बयान दिया है। टिकैत ने कहा है कि, किसानों का आंदोलन फ़ौरन वापस नहीं होगा, हम उस दिन का इंतजार करेंगे जब कृषि कानूनों को संसद में निरस्त किया जाएगा। सरकार न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) के साथ ही किसानों के दूसरे मुद्दों पर भी चर्चा करे।
दरअसल, पीएम मोदी द्वारा कृषि कानून वापस लेने का ऐलान करने के बाद ये माना जा रहा था कि किसान आंदोलन अब ख़त्म हो जाएगा, लेकिन टिकैत ने अपने इरादे स्पष्ट कर दिए हैं। उन्होंने साफ़ कहा है कि, आंदोलन अभी ख़त्म नहीं होगा। बता दें कि आज पीएम मोदी ने राष्ट्र को सम्बोधित करते हुए कहा कि, 'कृषि में सुधार के लिए तीन कानून लाए गए थे। ताकि छोटे किसानों को और ताकत मिले। सालों से ये मांग देश के किसान और विशेषज्ञ, अर्थशास्त्री मांग कर रहे थे। जब ये कानून लाए गए, तो संसद में चर्चा हुई। देश के किसानों, संगठनों ने इसका स्वागत किया, समर्थन किया। मैं सभी का बहुत बहुत आभारी हूं।'
पीएम मोदी ने आगे कहा कि 'साथियों हमारी सरकार किसानों के कल्याण के लिए देश के कृषि जगत के हित में, गांव, गरीब के हित में पूर्ण समर्थन भाव से, नेक नियत से ये कानून लेकर आई थी। लेकिन इतनी पवित्र बात पूर्ण रूप से किसानों के हित की बात हम कुछ किसानों को समझा नहीं पाए। भले ही किसानों का एक वर्ग इसका विरोध कर रहा था। हमने बातचीत का प्रयास किया। ये मामला सुप्रीम कोर्ट में भी गया। हमने कृषि कानूनों को वापस लेने का फैसला किया। आप अपने अपने घर लौटे, खेत में लौटें, परिवार के बीच लौटें, एक नई शुरुआत करते हैं।'
कश्मीर में गुलाम नबी के 'शक्ति प्रदर्शन' पर भड़की कांग्रेस, आज़ाद को इस कमिटी से किया बाहर
इंदिरा गांधी खुद भी थी वीर सावरकर की मुरीद, आज कांग्रेस कहती है 'माफीवीर'
सिद्धू के नक्शेकदम पर गुलाम नबी आज़ाद, कांग्रेस हाई कमान को दिया अल्टीमेटम