कोरोना वायरस ने दुनिया भर में त्राहि-त्राहि मचा दी है. वही इस बीच अमेरिका इस महामारी से सबसे ज्यादा ग्रसित है.आये दिन अमेरिका में कोरोना का स्तर बढ़ते जा रहा है. जिसकी वजह से पूरा अमेरिका संकट में आ गया है. वही बीते नौ दिनों में अमेरिका में शुक्रवार को कोरोना संक्रमितों की संख्या सर्वाधिक स्तर पर पहुंच गई है। इस आंकड़े की जानकारी तब सामने आई, जब अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप शनिवार को दक्षिण डकोटा में 4 जुलाई को अमेरिकी स्वतंत्रता दिवस समारोह में शामिल हो रहे हैं। यहां अप्रत्यायशित भीड़ जुटने की उम्मीद है। ऐसे में अमेरिका की चिंता बढ़ गई है।
भारत की बात की जाये, तो भारत में कोरोना वायरस के छह महीने बीतने के बाद भी इस महामारी पर काबू नहीं पा सके हैं। यह सच्चाई है, लेकिन कुछ लड़ाइयां लंबी चलती हैं। इस महामारी के साथ भी ऐसा ही है, जिससे हमें लंबे वक्त तक लड़ना पड़ेगा। एक नजरिए से देखें तो यह निराशाजनक बात है, लेकिन इसका दूसरा पहलू भी है, जिसमें हम पाते हैं कि कई देशों ने इसे लेकर बेहतर काम किया है। न्यूजीलैंड, जापान और ऑस्ट्रेलिया जैसे देशों ने इस संकट को बेहतर ढंग से निपटा है।
वही यदि हम भारत के पड़ोसियों की बात करें तो हम पाते हैं कि पाकिस्तान ने इस संकट से निपटने के लिए गंभीरता नहीं दिखाई, परिणामस्वरूप वहां के हालात बद से बदतर होते जा रहे हैं। वहीं श्रीलंका ने इस महामारी के खिलाफ अच्छा काम किया है। देखा जाये तो अभी कोई भी देश कोरोना महामारी से पूर्ण रूप से उभर नहीं पाया है. दुनिया भर में दिन-प्रतिदिन इसकी दर बढ़ते जा रही है.इसमें सबसे ज्यादा ग्रसित पांच देशो में भारत भी चौथे स्थान पर है. हालाँकि इसकी वैक्सीन पर निरंतर परिक्षण किये जा रहे है.परन्तु पूर्णरूप से कोई नतीजा सामने नहीं आया है.
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