नई दिल्ली : यूं भले ही एटीएम और बैंकों में अब लोगों की भीड़ कम नजर आ रही हो लेकिन बावजूद इसके सरकार आगामी कुछ दिनों तक रूपये निकासी की सीमा बढ़ाने के मूड़ में मोदी सरकार नहीं है। मोदी सरकार का यह मानना है कि यदि 30 दिसंबर के बाद निकासी की सीमा बढ़ा दी जाती है तो स्थिति को जल्द सुधारा नहीं जा सकता है।
बताया गया है कि भारतीय रिजर्व बैंक नोटों की मांग को पूरा करने में सक्षम नहीं हो सका है और यही कारण है कि मोदी सरकार नये वर्ष में भी निकासी सीमा को बढ़ाना नहीं चाहती है। गौरतलब है कि नोटबंदी के बाद से ही अभी बैंक खातों से एक सप्ताह के भीतर 24000 रूपये तक जहां निकाले जा सकते है वहीं एटीएम से रूपये निकालने की सीमा ढाई हजार तक ही सीमित है।
बताया गया है कि नोटों की मांग को पूरा नहीं करने के कारण बैंकों की स्थिति स्थिर नहीं हो सकी है। निकासी सीमा नहीं बढ़ाने के पीछे यह भी एक प्रमुख कारण बताया जा रहा है। हालांकि यह बात अलग है कि सरकार नये नोटों को छापने में दिन रात एक कर रही है।