लखनऊ: 2019 लोकसभा चुनाव के लिए समाजवादी पार्टी (सपा) और बहुजन समाज पार्टी (बसपा) उत्तर प्रदेश में एक हो सकती हैं. समाजवादी पार्टी के नेता राम गोपाल यादव ने इस बात की तरफ इशारा किया है. रामगोपाल ने एक प्रेस वार्ता में कहा है कि सभी इस बात को जानते हैं कि विपक्ष का महागठबंधन बनने जा रहा है, इस महागठबंधन में उत्तर प्रदेश में सपा और बसपा सबसे ज्यादा जरूरी पार्टियां हैं. लेकिन इस सम्बन्ध में अखिलेश जी और मायावती जी ही निर्धारित करेंगे कि गठबंधन किसके साथ किया जाना है.
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उत्तर प्रदेश के पूर्व हालातों को देखें तो गोरखपुर और फूलपुल लोकसभा सीट पर हुए उपचुनाव में बसपा ने सपा प्रत्याशियों के लिए प्रचार किया था. कैराना लोकसभा उपचुनाव में रालोद प्रत्याशी को समाजवादी पार्टी-बहुजन समाजवादी पार्टी के साथ कांग्रेस ने भी समर्थन दिया था. उल्लेखनीय है कि तीनों ही जगह भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) को हार का सामना करना पड़ा था.
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इसके बाद अब 2019 लोकसभा चुनाव में भी सपा- बसपा-रालोद या फिर सपा- बसपा- कांग्रेस- रालोद के मध्य गठबंधन हो सकता है और किसी भी तरह के गठबंधन होने का सीधा प्रभाव भाजपा पर नजर आने वाला है. आपको बता दें कि अगर विपक्षी एक साथ आ जाते हैं तो 2014 की स्थिति के लिहाज से भाजपा को 53 सीटों का नुकसान झेलना पड़ सकता है.
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