मुंबई: महाराष्ट्र के सीएम उद्धव ठाकरे के एक बयान से महाराष्ट्र की शांत सियासत में एक बार फिर सियासी पारा गरमाने लगा है. रविवार को शिवसेना के संस्थापक बाला साहेब ठाकरे की जयंती पर सीएम उद्धव ठाकरे ने कहा कि उनका मानना है कि शिवसेना ने भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के साथ गठबंधन में रहकर अपने 25 साल बर्बाद किए. उन्होंने कहा कि शिवसेना ने भाजपा छोड़ी है, हिन्दुत्व नहीं छोड़ा है. उन्होंने कहा कि भाजपा, हिन्दुत्व का इस्तेमाल सत्ता के लिए करती है.
सीएम उद्धव ठाकरे के इस बयान का शिवसेना के वरिष्ठ नेता और राज्यसभा सांसद संजय राउत ने समर्थन किया है. उन्होंने कहा कि बाबरी कांड के बाद उत्तर भारत में शिवसेना की लहर थी और यदि तब शिवसेना चुनाव लड़ती, तो देश में शिवसेना का प्रधानमंत्री होता, मगर शिवसेना ने ये मौका भाजपा के लिए छोड़ दिया. संजय राउत ने यह भी कहा कि भाजपा हिन्दुत्व का इस्तेमाल सत्ता के लिए करती है.
वहीं भाजपा के वरिष्ठ नेता राम कदम ने शिवसेना पर पलटवार करते हुए कहा है कि हिंदुत्व पर व्याख्यान देने से पहले सीएम उद्धव ठाकरे को आत्मनिरीक्षण करना चाहिए कि क्या शिवसेना दिवंगत बाल ठाकरे की विचारधारा पर चल रही है? वही बाला साहेब जिन्होंने कहा था कि सियासत और जीवन में उनकी पार्टी कभी भी कांग्रेस में शामिल नहीं होगी, और यदि ऐसी परिस्थितियां बनती भी हैं तो वह कांग्रेस में शामिल होने की जगह पार्टी को बंद करना पसंद करेंगे.
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