जयपुर: राजस्थान के सीएम अशोक गहलोत के नेतृत्व वाली कांग्रेस सरकार में राज्य के अजमेर जिले में हिंदू त्योहारों से पहले धारा 144 लागू करने का फरमान जारी किया गया है। फरमान में आयोजनों के दौरान धार्मिक चिन्ह वाले झंडों को नहीं लगाने की सलाह दी गई है। भारतीय जनता युवा मोर्चा (BJYM) के पूर्व राष्ट्रीय उपाध्यक्ष और अजमेर नगर निगम के डिप्टी मेयर नीरज जैन हिंदुस्तानी ने अजमेर के जिला प्रशासन द्वारा जारी किए गए सर्कुलर को अपने Twitter पर साझा किया है। उन्होंने कांग्रेस शासन की तुलना मुगलराज से की है।
कोटा,बीकानेर, जोधपुर और अब अजमेर सहित अन्य शहर में गहलोत साब का नादिरशाही फ़रमान किसी धार्मिक चिन्ह के झण्डे लगाना, DJ बजाना अपराध है ! गौर तलब है की एक और महावीर जयंती, दुर्गा अष्टमी, अम्बेडकर जयंती, राम नवमी और हनुमान जयंती के जुलूस और शोभा यात्रा पर ये आदेश #गहलोतराज_मुग़लराज pic.twitter.com/TzQeaDWQdB
— Neeraj Jain हिंदुस्तानी (@neeraj_jain75) April 7, 2022
नीरज जैन ने ट्वीट करते हुए लिखा है कि, 'कोटा, बीकानेर, जोधपुर और अब अजमेर सहित अन्य शहर में गहलोत साब का नादिरशाही फ़रमान। किसी धार्मिक चिन्ह के झण्डे लगाना, DJ बजाना अपराध है! गौरतलब है कि एक और महावीर जयंती, दुर्गा अष्टमी, अम्बेडकर जयंती, राम नवमी और हनुमान जयंती के जुलूस और शोभा यात्रा पर ये आदेश।' #गहलोतराज_मुग़लराज'। बता दें कि 10 अप्रैल को रामनवमी, 14 अप्रैल को महावीर जयंती और 16 अप्रैल को हनुमान जन्मोत्सव मनाया जाना है। इन पर्वों पर हिंदू समुदाय धूमधाम से झाँकी एवं जुलूस निकालते हैं और पर्व को मनाते हैं। सरकार के फरमान में आयोजनों के दौरान धार्मिक झंडे पर रोक लगाने की निर्देश के बाद चारों ओर सरकार की आलोचना हो रही है।
अजमेर प्रशासन की तरफ से जारी किए सर्कुलर में कहा गया है कि, 'अजमेर के SP द्वारा यह अवगत कराया है कि अजमेर जिले में आयोजित होने वाले धार्मिक प्रायोजनों के दौरान धार्मिक प्रतीक चिन्ह युक्त झंडियाँ सार्वजनिक संपत्ति, जैसे कि सामुदायिक भवन/ विश्राम गृह, सार्वजनिक पार्क, चौराहे/तिराहे, बिजली/टेलीफोन के खंभे आदि अथवा किसी अन्य शख्स की संपत्ति पर बना सक्षम स्वीकृति के लगाकर, व्यक्ति या व्यक्तियों के समूह द्वारा कानून व्यवस्था की स्थिति को प्रभावित कर सांप्रदायिक सद्भाव को बिगाड़ने की कोशिश की जाती है। जिससे लोक शांति भंग होने और कानून-व्यवस्था और सामाजिक सद्भाव प्रतिकूल रूप से बाधित होने की आशंका पैदा हो सकती है।'
अजमेर के डीएम दीप अंश के नाम से जारी किए गए इस सर्कुलर में कहा गया है कि इस प्रतिबंध गुरुवार (7 अप्रैल 2022) से अगले एक महीने तक जारी रहेगी। इस दौरान यदि कोई व्यक्ति या समूह इस आदेश का उल्लंघन करता है, तो उसके विरुद्ध आवश्यक कार्रवाई की जाएगी।
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