मुंबई: शिवसेना के मुखपत्र सामना में शरद पवार और अजीत पवार पर हमला बोला गया है. सामना में लिखा है कि, 'चुनाव आते ही सियासत में बवंडर उठते रहते हैं. श्री शरद पवार ने महाराष्ट्र में ऐसा ही एक बवंडर लाया. इस बवंडर के तूफान का रूप लेने से पहले भतीजे अजीत पवार अचानक अदृश्य हो गए, विधायक पद से इस्तीफा दे दिया और दूसरे दिन प्रकट होकर अपने अदृश्य होने की कहानी पत्रकारों को बताई. यह सब बताते हुए अजीत पवार का गला भर आया. उनके आंसुओं का बांध फूट पड़ा और उन आंसुओं का छिड़काव बवंडर पर पड़ने से तूफान नहीं बन पाया. ये सारा ‘नाटक’ सुबह 11 बजे से लेकर दोपहर 4 बजे के बीच हुआ.'
जब नाटक अपने शबाब पर था, तब पहले चरण का पर्दा गिरा और दूसरे चरण की जिम्मेदारी अजीत पवार ने संभाली. पहला चरण रोमांचित करनेवाला भव्य शरदनाट्य था और इसके आगे बढ़ने के दौरान ही अजीत पवार ने अपना रहस्यमय और ‘ट्रेजेडी’ वाला नाटक बीच में घुसाकर शरद पवार के जमे हुए नाट्य आविष्कार को बेरंग कर दिया. अजीत पवार ने आनन-फानन में विधायक पद से इस्तीफा दे दिया और अज्ञातवास में चले गए. अजीत पवार ने बड़े साहब को धोबी पछाड़ दे दिया.
अजीत पवार भाजपा में शामिल हो रहे हैं और जल्द ही अजीत पवार अपनी नई पार्टी की घोषणा करेंगे, यहां से लेकर मुलायम सिंह यादव की तरह पवार के परिवार में गृह कलह का दीमक लग गया है, ऐसी हवा चलाकर मीडिया ने पवार-नाट्य का तीसरा चरण भी आरंभ कर दिया.
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