प्रातः उठकर खाली पेट तांबे के बर्तन में रखा पानी पीने के फायदे तो आप बचपन से सुनते आए होंगे, मगर क्या वाकई आप तांबे के बर्तनों का सही उपयोग भी जानते हैं? जी हां, तांबे के बर्तन का उपयोग सर्दियों में यदि फायदा पहुंचाता है तो यही तांबे का बर्तन गर्मियों में आपके स्वास्थ्य को बिगाड़ भी सकता है। आइए जानते हैं कैसे-
गर्मियों में क्यों नहीं करना चाहिए तांबे के बर्तन का उपयोग:-
तांबे की तासीर गर्म होने के कारण यह समर सीजन में अधिक प्रभाव करती है। यही कारण है कि गर्मियों के मौसम में तांबे के बर्तन में खाना पकाने से खाने में कॉपर की मात्रा बढ़ जाती है, जो स्वास्थ्य को काफी नुकसान पहुंचा सकती है। इसके अतिरिक्त गर्मियों के मौसम में शरीर का तापमान भी बढ़ा हुआ रहता है। ऐसे में तांबे के बर्तनों का इस्तेमाल खाने के लिए करते हैं तो ये आपकी सेहत बनाने की जगह बिगाड़ भी सकता है।
गर्मियों में तांबे के बर्तन उपयोग करने के नुकसान:-
-भूख में कमी आना।
-नकसीन फूटना।
-शरीर का तापमान बढ़ना।
-डायरिया की शिकायत।
-ब्लोटिंग की समस्या होना।
-आयुर्वेद के अनुसार, तांबे का इस्तेमाल भस्म के तौर पर किया जाता है। इसमें तांबे के धातु गुणों को मारकर इस्तेमाल में लाया जाता है। कच्चे तांबे में पानी पीने से सेहत को नुकसान पहुंच सकता है। इससे दांतों का क्षरण होता है।
तांबे का इस्तेमाल करते समय ध्यान रखें ये बातें:-
- विशेषज्ञों के अनुसार, गर्मियों में आप सिर्फ एक वक़्त प्रातः खाली पेट तांबे का पानी पी सकते हैं।
- खाना बनाने के लिए तांबे के बर्तनों का इस्तेमाल पाचन संबंधी दिक्कतों को बढ़ा सकता है।
- तांबे के बर्तन में खट्टी चीजें रखकर खाने से आपको उल्टी, दस्त और ब्लोटिंग की समस्या हो सकती है।
- तांब के बर्तन में दूध का उपयोग किया जाता है तो शरीर को भी काफी नुकसान पहुंचाता है।
- अगर आप तांबे के लाभ लेना चाहते हैं, तो डॉक्टर की सलाह पर तांबे की भस्म का इस्तेमाल कर सकते हैं।
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