गाजियाबाद: देश के सबसे बड़े राज्य उत्तर प्रदेश के गाजियाबाद के पूर्व सांसद तथा कांग्रेस के सीनियर नेताओं में मशहूर सुरेंद्र प्रकाश गोयल का शुक्रवार को निधन हो गया. COVID-19 संक्रमण के पश्चात् वह बीते पंद्रह दिनों से दिल्ली के गंगाराम हॉस्पिटल में एडमिट थे. उनके निधन की पुष्टि उनके बेटे सुशांत गोयल ने की है. निधन की जानकारी प्राप्त होते ही कांग्रेसी नेताओं में शोक की लहर दौड़ गई है.
हेल्थ डिपार्टमेंट के अनुसार, बीस जुलाई को पूर्व सांसद की COVID-19 टेस्ट कराई गई, तो संक्रमण की पुष्टि हुई थी. उनका आरम्भ में होम-आइसोलेशन में ही इलाज किया गया. स्थिति खराब होने पर दो अगस्त को नगर विधायक तथा मिनिस्टर ऑफ़ स्टेट फॉर हेल्थ अतुल गर्ग के आग्रह पर उन्हे दिल्ली के गंगाराम हॉस्पिटल में एडमिट कराया गया. तत्पश्चात, 75 वर्षीय सुरेंद्र प्रकाश गोयल का शुक्रवार प्रातः को निधन हो गया. राजीव त्यागी के निधन के पश्चात् कांग्रेस को यह दूसरी बड़ी हानि हुई है.
वही कांग्रेस की सियासत करते हुए प्रथम बार वह 1972 में नगर पालिका गाजियाबाद के मेंबर के तौर पर चुने गए थे. 1973 में नगर पालिका के चेयरमैन बने तथा फिर 1989 में भी चेयरमैन बने. 2002 में जिले में MLA चुने गए. वर्ष 2004 में प्रथम बार कांग्रेंस से सांसद चुने गए. केंद्र में कांग्रेस की सरकार रहते हुए जिले के लिए कई विकास काम करवाने का श्रेय उन्ही को जाता है. जिले के हर दल के नेता उन्हें चाचा के नाम से पुकारकर सम्मान देते थे. कई बार कांग्रेस के अंदर ही टिकट को लेकर बहुत उठापठक हुई, किन्तु एक ही झटके में वह टिकट लेकर एनरोलमेंट करने पहुंच जाते थे. कांग्रेस के उच्च नेताओं से उनके संपर्क की कोई अंतिम क्षणों तक अनुमान नहीं लगा पाता था. कई बार मंच से कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने यह बोला कि चाचा कहां हैं. वही उनके निधन के पश्चात् कांग्रेस को बड़ा झटका लगा है.
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