बॉलीवुड जगत में ऐसे कई प्रतिष्ठित अभिनेता हुए हैं जिन्होंने भारतीय सिनेमा पर अमिट छाप छोड़ी है। ऐसे ही एक दिग्गज हैं राजेश खन्ना, जिनकी करिश्माई उपस्थिति और उल्लेखनीय प्रतिभा ने दशकों तक दर्शकों को मंत्रमुग्ध रखा। 29 दिसंबर 1942 को पंजाब के अमृतसर में जन्मे राजेश खन्ना का जन्म के समय नाम जतिन खन्ना था। वह अपने माता-पिता, लाला हीरानंद खन्ना और चंद्रानी खन्ना के साथ एक मध्यमवर्गीय परिवार में पले-बढ़े। किसी को भी नहीं पता था कि यह युवा लड़का आगे चलकर हिंदी फिल्म उद्योग में स्टारडम को फिर से परिभाषित करेगा। आज ही के दिन यानी 18 जुलाई 2012 को राजेश खन्ना का निधन हुआ था।
फिल्म जगत में एंट्री:-
फिल्म उद्योग में राजेश खन्ना का प्रवेश दृढ़ संकल्प और भाग्य के संयोग से हुआ। अपनी शिक्षा पूरी करने के बाद वह भारतीय सिनेमा के केंद्र मुंबई चले गए। फिल्म निर्माता चेतन आनंद की नजर में आने से पहले उन्हें कई अस्वीकृतियों का सामना करना पड़ा, जिन्होंने उन्हें फिल्म "आखिरी खत" (1966) में लिया। हालाँकि फिल्म ने बॉक्स ऑफिस पर हलचल नहीं मचाई, लेकिन इसने निर्देशकों और निर्माताओं का ध्यान आकर्षित किया जिन्होंने खन्ना की क्षमता को पहचाना।
लोकप्रियता:-
राजेश खन्ना के करियर में महत्वपूर्ण मोड़ शक्ति सामंत द्वारा निर्देशित फिल्म "आराधना" (1969) से आया। फिल्म की अभूतपूर्व सफलता ने खन्ना को तुरंत स्टारडम दिला दिया और उन्हें भारतीय सिनेमा के पहले सुपरस्टार का खिताब दिला दिया। उनके आकर्षक व्यक्तित्व, गहन अभिनय कौशल और रोमांटिक अपील ने उन्हें लाखों प्रशंसकों के दिलों की धड़कन बना दिया।
फ़िल्मोग्राफी और उपलब्धियाँ:-
राजेश खन्ना की फिल्मोग्राफी में यादगार फिल्मों की एक विशाल श्रृंखला है। उनकी कुछ सबसे उल्लेखनीय फिल्मों में "कटी पतंग" (1970), "आनंद" (1971), "अमर प्रेम" (1972), और "बावर्ची" (1972) शामिल हैं। वह विभिन्न प्रकार के किरदारों को चित्रित करने की अपनी क्षमता के लिए जाने जाते थे, चाहे वह रोमांटिक नायक हो, उदासीन नायक हो, या गहन कलाकार हो। खन्ना को उनके उत्कृष्ट अभिनय के लिए कई पुरस्कार और प्रशंसाएँ मिलीं, जिनमें तीन फ़िल्मफ़ेयर सर्वश्रेष्ठ अभिनेता पुरस्कार भी शामिल हैं।
व्यक्तिगत जीवन और रिश्ते:-
जहां राजेश खन्ना की प्रोफेशनल जिंदगी चमक रही थी, वहीं उनकी निजी जिंदगी ने भी मीडिया का ध्यान खींचा। उनकी शादी अभिनेत्री डिंपल कपाड़िया से हुई थी और उनकी दो बेटियां ट्विंकल खन्ना और रिंकी खन्ना हैं। हालाँकि, उनकी शादी को उथल-पुथल भरे समय का सामना करना पड़ा, जिसके कारण अलगाव हो गया। तमाम उतार-चढ़ाव के बावजूद एक अभिनेता के रूप में राजेश खन्ना की विरासत बरकरार रही।
विरासत और प्रभाव:-
भारतीय सिनेमा पर राजेश खन्ना के प्रभाव को कम करके आंका नहीं जा सकता। वह एक अग्रणी व्यक्ति थे, जिन्होंने फैशन, स्टाइल और अभिनय में नए रुझान स्थापित किए। उनकी अनोखी अदाएं, संवाद अदायगी और प्रतिष्ठित गाने आज भी प्रशंसकों द्वारा पसंद किए जाते हैं। 18 जुलाई 2012 को उनके निधन के बाद भी, उनकी विरासत उन सदाबहार फिल्मों के माध्यम से जीवित है जिनमें उन्होंने अभिनय किया था।
राजेश खन्ना को हिंदी सिनेमा के एक आइकन के रूप में हमेशा याद किया जाएगा। एक छोटे शहर के लड़के से बॉलीवुड के पहले सुपरस्टार तक का उनका सफर आज भी महत्वाकांक्षी अभिनेताओं के लिए प्रेरणा का काम करता है। अपनी असाधारण प्रतिभा और चुंबकीय स्क्रीन उपस्थिति के माध्यम से, राजेश खन्ना ने भारतीय सिनेमा पर एक स्थायी प्रभाव डाला, और बॉलीवुड इतिहास में अपना नाम दर्ज कराया।
राजेश खन्ना को लेकर पूछे जाने वाले प्रश्न:-
1. राजेश खन्ना की सबसे प्रसिद्ध फिल्में कौन सी थीं?
राजेश खन्ना की कुछ सबसे प्रसिद्ध फिल्मों में "आराधना," "आनंद," "अमर प्रेम," और "कटी पतंग" शामिल हैं।
2. राजेश खन्ना का विवाह किससे हुआ था?
राजेश खन्ना की शादी अभिनेत्री डिंपल कपाड़िया से हुई थी।
3. भारतीय सिनेमा में राजेश खन्ना की विरासत क्या है?
राजेश खन्ना को बॉलीवुड के पहले सुपरस्टार और भारतीय सिनेमा में उनके महत्वपूर्ण योगदान के लिए याद किया जाता है।
4. राजेश खन्ना का निधन कब हुआ?
18 जुलाई 2012 को राजेश खन्ना का निधन हो गया।
5. राजेश खन्ना ने बॉलीवुड फैशन और स्टाइल को कैसे प्रभावित किया?
राजेश खन्ना ने अपने अनूठे अंदाज, संवाद अदायगी और प्रतिष्ठित गीतों के माध्यम से फैशन और स्टाइल में नए रुझान स्थापित किए, और अपने प्रशंसकों के लिए एक स्टाइल आइकन बन गए।
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