जुड़वाँ बच्चें होना भगवान एक ऐसा करिश्मा है जिस जान-पाना मुश्किल है पर हम आपको ऐसे गांव के बारे में बताने वाले हैं जहाँ सिर्फ जुड़वां बच्चे हैं. इस गांव में बारे में सुनकर हर कोई हैरान है. जानकर आपको बड़ी ख़ुशी होगी यह अनोखा गांव कहीं और नहीं बल्कि हमारे देश भारत में ही मौजूद है. इस गांव की इस करिश्माई गुत्थी को जानने के लिए वैज्ञानिक बेक़रार हैं. बता दें कि इस में हर 1,000 बच्चों में से 42 जुड़वां पैदा होते हैं. यह वैश्विक औसत का सात गुना है. आम तौर पर दुनिया भर में 1,000 में मात्र छह ही जुड़वां बच्चे पैदा होते हैं.
इस गांव की सीमा पर नीले रंग के एक साइनबोर्ड पर लिखा है कि ,'भगवान के अपने जुड़वां गांव, कोडिन्ही में आपका स्वागत है.' इस गांव में इतने जुड़वां हैं कि दुनिया भर में इस पर चर्चा चल रही है. कोच्ची से करीब 150 किलोमीटर दूर स्थित इस गांव में आपको जुड़वां बच्चों की कई कहानियां मिल जाएंगी. 16 साल की सुमायत और अफसायात यहां के मदरास्थल अनवर स्कूल में पढ़ती हैं. दोनों देखने में बिलकुल एक जैसी हैं और इसलिए टीचर कई बार असमंजस में पड़ जाते हैं कि वे सुमायत से बात कर रहे हैं या फिर अफसायात से. सुमायत बताती हैं, "ज्यादातर तो उनकी कोशिश होती है कि दोनों को एक साथ ही पुकार लें. स्कूल में भी मजेदार घटनाएं होती हैं और बाहर भी लेकिन हम इससे परेशान नहीं होते हैं.
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