नई दिल्ली: 'सुपरमॉम' मेरी कॉम जब गुरुवार को रिंग में उतरीं तो 135 करोड़ भारतीयों की आँखें उनपर टिकी हुईं थी। मेरी कॉम अब तक उन उम्मीदों पर खरी भी उतरी थीं। 6 बार वर्ल्ड चैंपियन बनकर रिकॉर्ड भी बनाया। पूरी दुनिया के तमाम सम्मानित प्रतिस्पर्धाओं में देश का मान बढ़ाया। ओलिंपिक में कांस्य पदक भी अपने नाम किया। कमी थी तो केवल स्वर्ण पदक की, जिस सपने के लिए उन्होंने 38 वर्ष की आयु में भी बॉक्सिंग जारी रखी और अपने सपने को पूरा करने के लिए मेहनत करती रहीं। हालांकि, यह सपना Tokyo Olympics में टूटा गया है।
छह बार की विश्व चैंपियन एमसी मेरी कॉम (51 किग्रा) को महिला बॉक्सिंग के प्री क्वॉर्टर फाइनल में कोलंबिया की तीसरी वरीयता प्राप्त इंग्रिट वालेंसिया से शिकस्त झेलनी पड़ी है। पहले राउंड में मेरी को कोलंबियाई बॉक्सर से 1-4 से शिकस्त का सामना करना पड़ा, जबकि दूसरे राउंड में भारतीय बॉक्सर ने जबरदस्त कमबैक किया और 3-2 से जीत हासिल की। हालांकि, तीसरे राउंड में वालेंसिया ने न सिर्फ कमबैक किया, बल्कि मुकाबला 3-2 से अपने नाम कर लिया।
कोलंबिया की तीसरी वरीयता प्राप्त इंग्रिट वालेंसिया 2016 रियो ओलिंपिक की कांस्य पदक विजेता हैं। मेरी कॉम इससे पहले दो बार इस कोलंबियाई बॉक्सर से भिड़ी थी और दोनों में जीती थीं, जिसमें 2019 विश्व चैंपियनशिप का क्वॉर्टर फाइनल भी शामिल है।
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