भारतीय क्रिकेट टीम के कूल और स्मार्टी कप्तान 'विराट कोहली' की तो दुनिया की लाखो लड़किया दीवानी है. विराट कोहली इन दिनों अपनी फिटनेस को लेकर सुर्खियों में है. अब टीम इंडिया के खिलाड़ियों को डीएनए परीक्षण से गुजरना पड़ रहा है. इसमें सभी खिलाड़ियों की फिटनेस के बारे में पता चल रहा है. इससे खिलाड़ियों को मैदान में स्पीड बढ़ाने के साथ-साथ मोटापा कम करने और मसल्स को मजबूत करने में मदद मिलती है. विराट कोहली भी अपनी फिटनेस पर खास ध्यान देते है. और अपने साथ-साथ वो अपनी टीम के सभी प्लेयर्स को भी फिट देखना चाहते है. इसलिए सभी खिलाड़ियों को इस वक़्त डीएनए परीक्षण से गुजरना पड़ रहा है.
फिटनेस को लेकर विराट ने एक नई सोच बनाई है और इस मिशन में उनका साथ कंडनिशिंग ट्रेनर शंकर बासु ने दिया. बासु की ही सिफारिश पर भारतीय टीम के लिए व्यापक फिटनेस कार्यक्रम तैयार किया गया है. डीएनए परिक्षण इसी का नतीजा है. इतना ही नहीं यो यो टेस्ट भी बासु की ही परियोजना थी. शंकर बासु का कहना है कि, 'फिटनेस के लिहाज से आपको विराट से पहले की भारतीय टीम और अब की टीम पर गौर करना चाहिए. विराट न सिर्फ बेहतरीन बल्लेबाज हैं, बल्कि एक चैंपियन एथलीट भी हैं, जो चीते जैसा शक्तिशाली है.'
बासु ने ही साल 2013 में पहली बार विराट को उच्च स्तरीय फिटनेस हासिल करने के बारे में बताया था. विराट ने कहा भी था कि, 'मुझे ऐसा महसूस हुआ था कि अगर दुनिया के सर्वश्रेष्ठ क्रिकेटर बनने की होड़ में शामिल होने के लिए टॉप क्लास एथलीट भी बनना पड़ेगा.' विराट ने कहा कि, 'फिटनेस के लेवल पर आज मैं खुद को टेनिस स्टार नोवाक जोकेविच के करीब पाता हूं.' बासु ने विराट को जोकोविच जैसी फिटनेस पाने की सलाह दी. लेकिन अब विराट को देखकर उनकी सोच बदल गई है और वो चाहते है कि अब जोकोविच को विराट से सिख लेनी चाहिए. विराट अपने खानपान का पूरा ध्यान रखते है वो एकदम फिट क्रिकेटर है.
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