रूस में खेले जा रहे फीफा वर्ल्ड कप 2018 में शनिवार को पहली बार वीडियो असिस्टेंट रेफरी टेक्नोलॉजी (VAR) का इस्तेमाल किया गया. फ्रांस और ऑस्ट्रेलिया के बीच खेले गए एक मुकाबले में VAR का उपयोग कर फ्रांस को ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ पेनल्टी मिली. ग्रुप सी के इस मैच के दुसरे हाफ में एंटोनी ग्रीजमैन को पेनल्टी बाक्स में गिरा दिया गया था. हालांकि रेफरी ने पेनल्टी नहीं दी लेकिन वार अधिकारी ने रिव्यु करने के बाद इसे पेनल्टी करार दिया.
इस पेनल्टी का फायदा उठाते हुए ग्रीजमैन ने फ्रांस को 1-0 से बढ़त दिला दी. गौरतलब है कि फुटबॉल में वार का उपयोग सेरी ए और जर्मन बुंदेसलिगा में किया जाता रहा है. वहीं इसकी सफलता देखते हुए फीफा ने इसे वर्ल्ड कप में इस्तेमाल करने से पहले कन्फेडरेशन कप में उपयोग किया था. यहां भी VAR की सफलता देखने के बाद फीफा ने इसे विश्व कप में शामिल करने का फैसला किया.
आपकी जानकारी के लिए बता दें कि VAR टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल गोल होने के बाद, पेनल्टी से जुड़े फैसलों पर, रेड कार्ड से जुड़े फैसलों पर या फिर कार्ड दिखाए जाने के दौरान खिलाड़ी की गलत पहचान के मामले जैसी स्थिति में ही किया जा सकता है.
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