खालिस्तानी आतंकी गुरपतवंत सिंह पन्नू के घर पर ''तिरंगा'' फहराने से पंजाब पुलिस ने लोगों को क्यों रोका ?

खालिस्तानी आतंकी गुरपतवंत सिंह पन्नू के घर पर ''तिरंगा'' फहराने से पंजाब पुलिस ने लोगों को क्यों रोका ?
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चंडीगढ़: लुधियाना के गुरसिमरन सिंह मंड के नेतृत्व में शुक्रवार (11 अगस्त) को कई कार्यकर्ताओं ने चंडीगढ़ के सेक्टर 15 में आतंकी संगठन सिख फॉर जस्टिस (SFJ) के अलगाववादी गुरपतवंत सिंह पन्नू के स्वामित्व वाले घर पर भारतीय तिरंगा फहराने का प्रयास किया। हाथों में तिरंगा लेकर इंटरनेशनल एंटी खालिस्तानी फ्रंट के राष्ट्रीय अध्यक्ष गुरसिमरन सिंह मंड और उनके समर्थकों ने खालिस्तान और पन्नू विरोधी नारे लगाए।

 

मंड ने मीडिया को बताया कि यह देश का अपमान है कि चंडीगढ़ पुलिस अधिकारियों द्वारा पन्नू के आवास की ओर मार्च करने से रोकने के बाद भारतीय पुलिस ने उन्हें एक घोषित आतंकवादी और अलगाववादी के घर पर तिरंगा फहराने से रोका। उन्होंने कहा कि, 'मैं प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी को एक संदेश देना चाहता हूं, हमारा तिरंगा हमारा सम्मान है, हमारा गौरव है। हम यहां तिरंगा फहराने आए थे, हमने पिछले साल भी ऐसा किया था। गुरपतवंत पन्नू एक कुख्यात आतंकवादी है। यहां के अधिकारी कह रहे हैं कि पन्नू घर पर नहीं है, लेकिन इससे कोई फर्क नहीं पड़ता, भारत और दुनिया तक यह संदेश जाएगा कि हमारा तिरंगा हमारी शान है। पन्नू केंद्र सरकार द्वारा घोषित आतंकवादी है। हम खालिस्तान को कभी हकीकत नहीं बनने देंगे, भले ही इसके लिए हमें अपनी जान देनी पड़े या पुलिस हमें गिरफ्तार कर ले।' 

 

मंड ने ट्वीट करते हुए कहा कि पन्नू के घर पर तिरंगा फहराने से रोके जाने के बाद वह जल्द ही प्रधानमंत्री और केंद्रीय गृह मंत्री से मिलेंगे। याद दिला दें कि पिछले साल अगस्त में जब 75वें स्वतंत्रता दिवस से पहले केंद्र सरकार द्वारा 'हर घर तिरंगा' अभियान शुरू किया गया था, तब गुरसिमरन सिंह मंड और उनके समर्थकों ने पन्नू के घर पर तिरंगा फहराया था। सेक्टर 11 पुलिस स्टेशन के एक पुलिस अधिकारी ने कहा, "हमने कानून व्यवस्था की स्थिति के कारण लोगों को गुरपतवंत सिंह पन्नू के घर तक पहुंचने से रोक दिया। क्योंकि, देखभाल करने वाले के अलावा घर में कोई नहीं रहता है।"

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