नई दिल्ली: मॉनसून पर अच्छी बारिश के लिए सबसे अधिक किसान की प्रार्थना करते हैं, ताकि बरखा रानी जमकर बरसे और उनके खेत-खलिहान खूब लहलहाएं। इस साल भी किसान अच्छी बारिश की आस लगाए बैठे हैं. लेकिन, क्या इस साल मॉनसून किसानों की उम्मीद पर खरा उतरेगा ? इसको लेकर मौसम विभाग (IMD) ने पूर्वानुमान जारी कर दिया है। IMD ने अपने पूर्वानुमान में कहा है कि इस साल मॉनसून की बारिश "सामान्य" रहेगी।
मौसम विभाग ने देश के उत्तरी और मध्य हिस्से में 96 फीसद बारिश की संभावना जताई है। हालांकि, एक दिन पहले मौसम की भविष्यवाणी करने वाली स्काईमेट ने कहा था कि जून से सितंबर माह के बीच औसत से कम वर्षा हो सकती है। मौसम विभाग ने मंगलवार (11 अप्रैल) को बताया था कि इस साल मॉनसून नार्मल रहेगा। विभाग के अनुसार, जून से सितंबर के बीच लॉन्ग पीरियड एवरेज (LPA) की 96 फीसद वर्षा हो सकती है। IMD ने यह भी कहा है कि सामान्य मानसून की 35 फीसद संभावना है, जबकि सामान्य से कम मॉनसून की संभावना 29 फीसद है। इससे पहले स्काईमेट ने अपने पूर्वानुमान में कहा था कि 40 फीसदी चांस हैं कि सामान्य से कम वर्षा होगी।
IMD के अनुसार, अगर बारिश LPA के 90-95 फीसद के मध्य होती है, तो इसे सामान्य से कम कहा जाता है। बता दें कि, LPA 96%-104% हो तो इसे सामान्य बारिश कहा जाता है। LPA यदि 104% से 110% के मध्य है, तो सामान्य से अधिक बारिश कहते हैं। 110 फीसद से अधिक को अत्यधिक बारिश और 90 फीसद से कम बारिश यानी सूखा पड़ना माना जाता है।
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