वाई-फाई ने लोगों की जिंदगी को बहुत आसान बनाया है। इसके जनक अमेरिकी-सर्बियाई आविष्कारक निकोल टेस्ला का जन्म वर्ष 1856 में 10 जुलाई के दिन हुआ था। 7 जनवरी 1943 को निकोल टेस्ला की 86 वर्ष की आयु में न्यूयॉर्क में मृत्यु हो गई थी। सर्बो-क्रोएशीयन, चेक, अंग्रेजी, फ़्रेंच, जर्मन, हंगेरीयन, ईटालीयन और लैटीन आठ भाषाओं के जानकार निकोल टेस्ला ने वायरलेस कम्यूनिकेशन के साथ साथ एसी करंट, टेस्ला वेव्स, बिजली से चलने वाली मोटर, रोबोटिक्स, रिमोट कंट्रोल, राडार, एक्स रे आदि का आविष्कार भी कर चुके हे। टेस्ला ने इलेक्ट्रीसिटी और चुम्बक के क्षेत्रों में कई क्रांतिकारी आविष्कार किए थे।
उनके बारे में बोला जाता है कि जब वह स्कूल में थे, तो गणित के मुश्किल सवालों को मन में ही हल कर लेते थे। उन्होंने कभी विवाह नहीं किया, इसका कारण यह थी कि उनके काम में कोई खलल नहीं डाल सके। उन्होंने वायरलेस कम्युनिकेशन रिमोट कंट्रोल, निओन लाइट, एक्स-रे, रडार का आइडिया, अल्टरनेटिव करंट, नियाग्रा फॉल पर पहला हाइड्रो इलेक्ट्रिक प्लांट भी बनाया है। उन्होंने वर्ष 1926 में ही स्मार्टफोन बनाने के बारे में सोचा था। जानते हैं उनके जीवन की कुछ कम घटनाओं के बारे में...
ड्रेसिंग सेंस की दीवानी थी महिलाएं: टेस्ला ने कभी विवाह नहीं किया था। एक इंटरव्यू में उन्होंने बोला था कि वह विज्ञान के लिए अपने जीवन की कुर्बानी दे रहे हैं। सारा जीवन विज्ञान को समर्पित करने के उपरांत भी उनके ड्रेसिंग सेंस पर किसी को शक नहीं था। वह अन्य वैज्ञानिकों की तरह पूरे वक़्त रिसर्च में ही नहीं खोए रहते थे, बल्कि कुछ समय सामाजिक मेल-जोल के लिए भी निकलते थे।
वह 6 फुट 2 इंच के छरहरी काया वाले इंसान थे, जो सामाजिक रूप से लोगों से मिलने के बीच अपने फैशन सेंस से महिलाओं को दीवाना बना देते थे। मार्क ट्विन जैसे प्रसिद्ध लोगों के साथ उनकी दोस्ती थी और महिलाओं को भी वह बहुत आकर्षक लगते थे। इनमें से कुछ ने कबूल किया था कि वे टेस्ला के "प्यार में पागल" थीं। टेस्ला के निजी जीवन का अधिकांश भाग एक रहस्य है, लेकिन उन्होंने कभी विवाह नहीं किया।
महज दो घंटे ही सोते थे: अपने पूरे जीवन के दौरान टेस्ला ने एक नियमित कार्यक्रम बनाए रखी। कुछ लोगों का दावा है कि वह रात में केवल 2 घंटे ही सोते थे। वह हमेशा न्यूयॉर्क के डेल्मोनिको और बाद में वाल्डोर्फ-एस्टोरिया होटल में एक ही टेबल पर अपना डिनर लेते थे। उन्हें कीटाणुओं से डर लगता था और 18 नैपकिन के का पैक अपने साथ रखते थे। 3 नंबर को लेकर वह अधिक ही दीवाने थे। जब वह छोटे थे, तो वह मोती को देखने से भी घबराते थे और जिसके कारण से उन्हें दौरे तक आने लग जाते है।
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