पटना: सीएम नीतीश कुमार बिहार में लॉ एंड आर्डर ठीक करने के लिए भले ही पुलिस मुख्यालय में अफसरों के साथ बैठकर घंटों टास्क दे रहे हैं लेकिन पटना के भ्रष्ट पुलिस कर्मचारियों पर इस बात का कोई प्रभाव देखने को नहीं मिला है। मसौढ़ी में वसूली वाला वीडियो वायरल होने के उपरांत 6 पुलिसकर्मियों के ऊपर गाज गिरी थी लेकिन अब पटना के कंकड़बाग थाने की पुलिस का दबंगई से जुड़ा केस देखने को मिला है।
जाना इस बात का पता चला है कि कंकड़बाग थाने की पुलिस ने एक स्कूटी सवार युवक को चेकिंग के नाम पर पकड़ा तो उसके पास गाड़ी के पूरे कागजात अब तक सामने नहीं आए है। युवक का इलज़ाम है कि सिपाही ने उससे 5000 रुपये की मांग की। युवक ने सिपाही से बोला कि उसके पास इतने पैसे नहीं है क्योंकि वह एक स्टूडेंट है। युवक ने कहा है कि उसके पास केवल दो से 300 ही थे। इतना सुनते ही सिपाही ने उस पर गुस्सा निकलना शुरू कर दिया और उसे थाने आने की बात कही। युवक का आरोप है कि सिपाही ने यह भी धमकी दी कि अगर उसने पैसे नहीं दिए तो शराब की बोतल स्कूटी में रखकर वह उसे जेल भेज देगा। जिसके उपरांत युवक घबरा गया और उसने अपने पिता को कॉल करने के लिए मोबाइल निकाला। सिपाही ने उसके मोबाइल को भी बुरी तरह से नष्ट कर दिया। युवक का नाम आशुतोष बताया गया है। युवक का बोलना है कि वह उस सिपाही को पहचान लेगा जिसने उसके साथ इस तरह की घटना को अंजाम दिया।
मिली जानकारी के अनुसार आशुतोष के मुताबिक सिपाही वहां अकेला नहीं था। उसे पकड़ने के लिए कुछ और लोगों को बुला कर लाया था। पैसे नहीं मिलने की खींच में उसके साथ मारपीट की गई उसके कपड़े फाड़े गए। पुलिस से बचने के लिए वह भागकर एक अनजान घर में जा घुसा,लेकिन उस पुलिस वाले ने उसे वहां से भी बाहर निकाल लिया। जिसके उपरांत आशुतोष ने एसपी उपेंद्र शर्मा को उनके ऑफिस पहुंचकर इस पूरे केस की सूचना दी। जानकारी मिलने के उपरांत एसपी उपेंद्र शर्मा हरकत में आए उन्होंने फौरन कंकड़बाग के थाना प्रभारी को फोन किया और क्लास लगाई। सिपाही की पहचान करने और उसका लाइन क्लोज करने के आदेश भी दिए। साथ ही साथ आशुतोष की स्कूटी को छोड़ने का भी आदेश दिया है।
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