हमारे भारत में त्यौहारो को लेकर एक अलग ही उत्साह रहता है. भारत में जो भी त्यौहार आता है लोगो के मन में उस त्यौहार के प्रति उत्साह बना रहता है लोग उस त्यौहार की पहले से ही तैयारी शुरू कर देते है. ऐसे ही भारत में एक त्यौहार हरियाली तीज भी है जो इसी महीने की 24 तारीख को है यह त्यौहार हिन्दू महिलाओं का प्रमुख त्यौहार है. इस त्यौहार के आने से पहले ही महिलाए तैयारियो में लग जाती है. इस त्यौहार में महिलाए अपने विवाह हेतु पारम्परिक संबंधो को जोड़ने और अपने परिवार की ख़ुशी की कामना करती है. हरियाली तीज उत्तर भारत और नेपाल में भी मनाया जाता है. लेकिन भारत में यह राजस्थान, हरियाणा, पंजाब आदि राज्यों में महान उत्साह के साथ मनाया जाता है. यह त्यौहार देवी देवताओं के जमाने से चला आ रहा है. ऐसा माना जाता है की देवी पार्वती को 108 जन्मों तक प्रतीक्षा करनी पड़ीं थी तब जाकर कहीं भगवान शिव ने उन्हें अपनी पत्नी के रूप में स्वीकार किया था. और तीज के तीन दिन इस त्यौहार में भगवान शिव और पार्वती के पुनर्मिलन का उल्लेख किया गया है। हरियाली तीज का त्यौहार 3 प्रकार का होता है. हरियाली तीज-जब महिलाए चंद्रमा की पूजा करती है. कजरी तीज-इसमें महिलाए नीम के पेड़ की पूजा करती है. हरितालिका तीज-इस तीज में महिलाए अपने पति की लम्बी उम्र के उपवास करती है. यह त्यौहार अगस्त में पूर्णिमा के तीसरे दिन हर साल मनाया जाता है। उत्तरी भारत में महिलाए तीज का त्यौहार देवी पार्वती के प्रति सम्मान के रूप में और अपने पतियों की लंबी उम्र के लिए प्रार्थना करती हैं। प्राचीन कथाओ के अनुसार ऐसा माना जाता है की देवी पार्वती ने भगवान शिव से प्रार्थना की और मानव जाति में 107 जन्मों की प्रतीक्षा की तब अंततः भगवान शिव ने 108 वें जन्म में उन्हें स्वीकार किया था इसलिए, करवा चौथ की तरह, ही महिलाए तीज का त्यौहार अपने पति की लम्बी उम्र के लिए रखती है. लाल फूल चढाने से गणेश जी करते है आपकी हर मनोकामना पूरी साईंबाबा के व्रत से होगी हर मनोकामना पूरी घर की नकारात्मकता को दूर करते है ये दो उपाय