जोधपुर: हाईकोर्ट की गाइडलाइन के मुताबिक अब नाबालिग बालक-बालिकाओं का धर्म परिवर्तन नहीं कराया जा सकेगा. बालिग युवक-युवती धर्म परिवर्तन कर सकेंगे. लेकिन उन्हें भी इसकी सूचना देनी होगी. हाईकोर्ट ने कहा- जो लोग धर्म परिवर्तन करने का इरादा रखते हैं और जिस धर्म को ग्रहण करना चाहते हैं, उसका पूरा ब्यौरा लेकर पहले खुद को संतुष्ट करना चाहिए. धर्म परिवर्तन से पहले संबंधित कलेक्टर या एसडीएम को सूचना देनी होगी. जोधपुर निवासी पायल फैज मोहम्मद के मामले में सुनवाई के दौरान कोर्ट ने 9 बिंदुओं की गाइडलाइन जारी की. राजस्थान हाईकोर्ट के न्यायाधीश गोपालकृष्ण व्यास और डॉ. वीरेंद्र कुमार माथुर की खंडपीठ की ओर से तय इस गाइडलाइन में कहा गया है कि यह गाइडलाइन राजस्थान धर्म स्वातंत्र्य एक्ट 2006 या राज्य सरकार द्वारा बलपूर्वक धर्म परिवर्तन रोकने के लिए नया कानून बनाने तक अस्तित्व में रहेगी. गौरतलब है कि मध्यप्रदेश के सतना में इसी सप्ताह धर्मपरिवर्तन के लिए बाध्य करने के जुर्म में 30 पादरियों के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज करवाई गई थी. बजरंग दल और पुलिस ने जांच में पाया था कि सतना में ये कई दिनों से सक्रीय है, और धर्म परिवर्तन के लिए पैसो का लालच दिया जाता है. जबकि केथोलिक कमेटी ने इससे साफ इंकार किया था. 50 हजार के हेलमेट ने ली युवक की जान अर्नेस्ट अमुजु का बड़ा बयान जयपुर हवाई अड्डे पर बम की सूचना से हड़कंप अभावग्रस्त घोषित इलाको में नहीं होगी भू-राजस्व वसूली