दिल्ली के रोहिणी में स्थित आध्यात्मिक विश्वविद्यालय के गोरखधंधे का खुलासा होने के बाद दिल्ली हाईकोर्ट ने पुलिस से बाबा के सभी 8 आश्रमों की डीटेल मांगी थी. जिसके बाद दिल्ली महिला आयोग की टीम ने DCW की टीम के साथ CWC और दिल्ली पुलिस की टीम सहित शुक्रवार को उत्तम नगर में स्थित आश्रम पर छापेमारी की.
200 गज के इस मकान में 6 महिलाएं और 5 नाबालिग लड़कियाँ थी, जिन्होंने बताया कि ज्यादातर महिलाओं की तबीयत खराब है और उनका अलग-अलग अस्पतालों में उपचार चल रहा है. आश्रम से बड़ी मात्रा में दवाइयां और अश्लील किताबें बरामद हुईं. आश्रम को पुलिस ने सील कर पुलिस बल की तैनाती कर दी.इस आश्रम का संचालक गुरुमूर्ति नारायण था. इमारत के ग्राउंड और फ़र्स्ट फ्लोर पर गुरुमूर्ति, उनका पुत्र सत्यनारायण और उसकी पत्नी रहती थी.
गुरुमूर्ती ने बताया कि, उन्होंने 2010 में यह मकान आश्रम को दान दिया. वीरेंद्र देव ने उसे कहा था कि ऊपर रह रही महिलाओं पर किसी की भी छाया पड़ जाएगी, तो वे अपवित्र हो जाएंगी.इसलिए वह कभी ऊपर नहीं गया. DCW और CWC की टीमों ने आश्रम में कैद महिलाओं से पूछताछ की, लेकिन कोई भी अपने घर-परिवार के बारे में कुछ भी बताने में असमर्थ रहीं. वहीं जब आश्रम की देख-रेख करने वाले गुरुमूर्ति से इस बारे में पूछा गया तो उनके पास भी इनकी कोई जानकारी नहीं थी. CWC शनिवार को फिर आश्रम जाकर इन महिलाओं और बच्चियों को को आज़ाद कराएगी.
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