मुंबई में रहने वाली देश की एकमात्र मुस्लिम पोल डांसर के लिए पोल डांस का मतलब है, दिल खोलकर उड़ना. उनका कहना है कि “ये एक सेक्सी डांस फॉर्म है जिसमें महिलाएं उन सीमाओं को तोड़ती हैं, जो समाज में उन्हें सिखाई जाती हैं, कि उन्हें किस तरह के कपड़े पहनना है और कैसे रहना है. आरीफा भिंडरवाला एक प्रोफेशनल पोल डांसर हैं और बोहरा मुस्लिम समाज से हैं. आरिफा कहती हैं कि यदि उन्हें उनकी मां नफीसा भिंडरवाला का साथ नहीं मिला होता तो वे कभी पोल डांसर नहीं बन पातीं. पोल डांस के जरिए आरिफा ने प्री-मैनस्ट्रुअल डिप्रेशन जैसी बीमारी से लड़ाई लड़ी है. आरिफा लड़कियों को पोल डांस सिखाती भी है. वह कहती हैं कि “जब मैं पोल डांस सिखाती हूं, तो मैं खुद को एक ऐसी मां के तौर पर देखती हूं, जो अपने बच्चों को सही तरीके से जज नहीं करती.” उनका कहना है कि उनकी बहन हिजाब पहनती हैं लेकिन वो खुद वही कपड़े पहनती हैं जो पोल डांस के लिए उपयुक्त हैं. उनका कहना है कि “बहुत लोग यह बात नहीं समझ सकते कि किसी को भी उसके कपड़ों के आधार पर जज नहीं किया जा सकता.” आरिफा का मानना है कि “समाज में खराब माने जाने वाला पोल डांस लड़कियों की आजादी का प्रतीक है. ये सभी लड़कियों को समाज के नजरिये से आजाद करता है.” सुबह देर से उठने पर पति ने दिया तीन तलाक लव जिहाद बताकर हँगामा करने वाला भाजपा नेता बर्खास्त रेलवे ई-टिकट बुकिंग रैकेट में शामिल सीबीआई अधिकारी गिरफ्तार