बॉलीवुड के मशहूर संगीतकार एआर रहमान इन दिनों अपने बयान को लेकर जमकर सुर्खिया बटोर रहे है. रहमान का कहना है कि, अगर बाजार में अच्छे संगीत की मांग नहीं होती तो वह धुनें बनाना बंद कर देते. हाल ही में हुए एक इंटरव्यू में जब रहमान से पूछा गया कि क्या फिल्म संगीत में करियर के सीमित विकल्प होते हैं.
इस बात का जवाब देते हुए रहमान ने कहा कि, "यह सीमित नहीं है बस इसे सीमित कर रहे हैं. आपको खुद को व्यक्त करने के, विकसित होने के गैर-परंपरागत तरीके खोजने होंगे. उन्होंने कहा कि,"अगर सीडी बिकनी बंद हो जातीं तो मैं संगीत बनाना बंद कर देता, लेकिन चीजें अलग हैं. संगीत तो एक ही है, लेकिन जिस तरीके से हम इसे व्यक्त करते हैं, जिस तरीके से इसे सुनते हैं, वह अलग है. हमें अपने जोन में रहना होगा. इसके अलावा रहमान ने फिल्मों में गुणवत्ता वाले गानों के प्रस्तावों की कमी की शिकायत करते हुए कहा कि," रचनात्मक लोगों को खुद को व्यक्त करने के लिए गैर-परंपरागत तरीकों को खोजना चाहिए."
बता दे कि, रहमान 'गोल्डन ग्लोब अवॉर्ड' से सम्मानित होने वाले पहले भारतीय हैं. यही नहीं बल्कि, ए. आर. रहमान ऐसे पहले भारतीय हैं जिन्हें ब्रिटिश भारतीय फिल्म स्लम डॉग मिलेनियर में उनके संगीत के लिए तीन ऑस्कर नामांकन हासिल हुआ है. इसी फिल्म के गीत 'जय हो' के लिए सर्वश्रेष्ठ साउंडट्रैक कंपाइलेशन और सर्वश्रेष्ठ फिल्मी गीत की श्रेणी में दो ग्रैमी पुरस्कार मिले.
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